कुओं के जीर्णोद्धार से केन्द्रीय कारागृह की पेयजल समस्या का हुआ समाधान

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कुओं के जीर्णोद्धार से केन्द्रीय कारागृह की पेयजल समस्या का हुआ समाधान

दौसा। दीपक शर्मा बामनवास की रिपोर्ट।

कारागार विभाग ने फिनोलेक्स इंडस्ट्रीज लिमिटेड तथा सीएसआर पार्टनर मुकुल माधव फाउण्डेशन पुणे के सहयोग से विशिष्ट केन्द्रीय कारागृह श्यालावास में 2 पुराने कुओं का जीर्णोद्धार करवाया है। कारागार रेंज जयपुर की उप महानिरीक्षक मोनिका अग्रवाल ने पुनरुद्धार किये गये कुओं का लोकार्पण किया।

उप महानिरीक्षक मोनिका अग्रवाल ने बतौर मुख्य अतिथि कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि यदि इसी प्रकार समाजसेवी संस्थाएं कारागृहों की व्यवस्थाओं के सुधार के लिए आगे आएंगी तो कारागृहों की व्यवस्थाएं और अधिक सुदृढ़ और सुचारू हो सकेगी। उन्होंने इस पुनीत कार्य के लिए फिनोलेक्स इंडस्ट्रीज लिमिटेड तथा सीएसआर पार्टनर मुकुल माधव फाउण्डेशन का आभार व्यक्त किया।

कारागृह उपाधीक्षक सौरभ स्वामी ने बताया कि बंदियों एवं कारागृह कार्मिकों के लिए अब तक पेयजल की व्यवस्था टैंकरों के माध्यम से की जा रही थी। पुराने कुओं में से 35 फीट की गहराई तक कीचड़ निकालकर 126 फीट गहरा किया गया। कुओं के जीर्णोद्धार से विशिष्ट केन्द्रीय कारागृह की बहुप्रतीक्षित पेयजल समस्या का समाधान हो गया। दोनों पुराने कुओं के जीर्णोद्धार तथा गहरा कराने के कार्य पर 10 लाख रुपए खर्च हुए जिसमें मुकुल माधव फाउण्डेशन ने 9 लाख तथा कारागार विभाग ने 1 लाख रुपए का सहयोग दिया। इस कार्य में लगभग 2 माह का समय लगा।

इस अवसर पर कारापाल राजेश डुकिया, उप कारापाल हाजी दिलावर खान, फिनोलेक्स इंडस्ट्रीज लिमिटेड के प्रतिनिधि चिराग पगधर, नितिन जैन, आशीष शर्मा एवं सीएसआर पार्टनर मुकुल माधव फाउण्डेशन के राजस्थान हैड हेमन्त चतुर्वेदी एवं गुजरात हैड नितुल बरोट उपस्थित थे।

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